Friday, August 19, 2022

आती है तेरी याद (AMAR BHARAT)

 आती है तेरी याद


आती है तेरी याद-

इस कदर मुझको,

रोता है दिल-

आँखों में सूखे आंसू,

कुछ तो बता मुझे-

ग़म अपना सुनाऊँ किसको ?


ग़म ये जुदाई का -

सहा न जाये अब मुझसे ,

बढ़े तड़प और मेरी-

तन छोड़ आये रूह,

मिलने को सिर्फ तुझसे |


जीना भी मेरा क्या है?

तन तड़पे यहाँ-

रूह बसती वहां,

नैन जागे हैं पल-पल-

और बरसे यहाँ |


लग जाऊँ गले- 

भूल जाऊँ मैं सब कुछ,

तेरे प्रेम को-

रोम-रोम तरसे यहाँ |


अच्छा तो होगा ये भी-

मिट जाये मेरा तन,

समझेगी शायद तब तू-

प्रेम करता था तुझको मन |


हवस न तेरे तन की-

तन मिलते है बाजार में,

चाहत तो दिल की है इतनी,

लगाकर गले तुझे,

अमर हो जाऊँ मैं प्यार में |


न होने पर दुनिया में -

अहसास होगा तुझको,

पागल था एक ऐसा -

जो मरकर भी चाहे तुझको,

 आती है याद तेरी-

इस कदर मुझको,

रोता है दिल मेरा-

आँखों में सूखे आंसू,

कुछ तो बता मुझे-

ग़म अपना सुनाऊँ किसको ?


अम्बरीष चन्द्र  'भारत'




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